Monckey Pox Virus मन्कीपाक्स वायरस-
पूरे विश्व में हर दो तीन साल एक नयी बिमारी को देखने को मिलता रहता है। कुछ बिमारी बेहत खतरनाक रुप ले लेती है जिससे लाखो लोगो की मौत हो जाती है और कुछ बिमारी कम खतरनाक रुप लेती है लेकनि बहुत कष्ट देती है अधिकत्तर बिमारीयां पर्यावरण में बदलाव के कारण होती है और कुछ बिमारीयां लोगो के खान पान में परिवर्तन के कारण होती है। यदि हम अपने पर्यावरण की देखभाल, खान पान, और साफ सफाई का ध्यान दे कई बिमारीयों में हम दूर रह सकते है। इस लेख हम ऐसी बिमारी के बारे में जानेगें जो 1958 में बंदर में देखा गया था और 1970 में इंसान में देखा गया था। वैज्ञानिको ने इस बिमारी को मंकीपॉक्स Monckey Pox नाम दिया है।
मंकीपॉक्स क्या होता है What is monckey Pox –
एनडीटीवी के रिपोर्ट में बताया गया है कि
ब्लूमबर्ग इंटेलिजेंस सीनियर फर्मास्यूटिकल एनालिस्ट सैम फजेली के अनुसार जिस प्रकार चिकनपॉक्स और स्मॉलपॉक्स एक आर्थोपॉक्स वायरस है उसी प्रकार मंकीपॉक्स एक आर्थोपॉक्स वायरस है लेकिन इससे मृत्यु सुनने को नही मिला। नाम के अनुसार यह वायरस बंदरो से फैलने वाला वायरस है।
मंकी पाक्स फैलता कैसे How spread Monckey Pox –
यदि कोई व्यक्ति इस वायरस से पीड़ित है तो लोगो उस व्यक्ति से दूरी बना कर रहना चाहिए।
कहा जाता है यह बिमारी चुहों एंव गिलहरियो से भी फैलता है।
पीड़ित व्यक्ति से शारीरिक संबन्ध बनाने पर भी यह रोग फैलता है।
मंक्कीपाक्स के लक्षण Symbol of Monckey Pox –
इसकी शुरुआत सिरदर्द, पीठ दर्द,मांसपेशियो में दर्द और बुखार से होता है।
इस बीमारी से पीड़ित व्यक्ति के शरीर पर दाने और गाठ देखने को मिलती है।
प्रतिरोधक क्षमता प्रवाहित होती है। शरीर से कई तरह का कैमिकल रिलीज होता जिससे मसल्स में दर्द रहता है।
फोड़े होने पर बैक्टीलियल इन्फेक्शन का खतरा होता है।
मंक्कीपाक्स से बचाव How to save of monckey Pox-
वायरस से पीड़ित होने पर कुछ दिनो के बाद वैक्सीन लगवा लेना चाहिए।
वायरस या दुषित पदार्थ से दूरी बना कर रखे।
पीड़ित जानवर या मनुष्य के संपर्क से दूरी बना कर रखे।
पीड़ित व्यक्ति का विस्तर प्रयोग करने पर भी फैलता है।
संक्रमित देश Infected Countries from Monckey Pox-
इस बिमारी से संक्रमित देश ब्रिटेन,अमेरिका, इटली,पुर्तगाल,स्पेन और स्वीडन है।
कनाडा, आस्ट्रेलिया और फ्रांस इस बिमारी के संभावित संक्रमणो की जांच कर रहे है।
विविध-
- इस बिमारी के लक्षण का पता करीब 10 दिन बाद चलता है।
- किसी जानवर के काटने से या खरोच मारने से फैल सकता है।
- यह रोग चिनकपॉक्स के समान होता है।
- इस संक्रमण रोकने में चेचक का टीका 85 प्रतिशत प्रभावी है।
- यह 21 दिन के बाद अपने आप ठीक हो जाता है।
- 2019 में अमेरिका में व्यस्को के लिए मंक्कीपॉक्स के टीका जेनिओस को मंजूरी दी गयी थी।
- इस रोग की पहचान पहली बार 1958 में कोपेनहेगन, डेनमार्क में प्रयोगशाला में बंदरो में की गई थी।
- मनुष्य में सबसे पहले 1970 में कांगो में देखा गया था।
- इस बिमारी के लक्षण करीब 58 देशो में 3417 मामले देखे गये है।
- वर्ल्ड हेल्थ नेटवर्क ने इसको महामारी घोषित किया है।
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