यदि आप भी डल और ड्राई स्कीन से परेशान है तो आंवला किसी तोहफे से कम नही है।

आंवला यूफोरबियासी परिवार से संबन्धित है। भारत विश्व में सबसे बड़ा आंवला उत्पादक देश है।

देश के उत्पादन का 60 प्रतिशत उत्पादन केवल उत्तर प्रदेश में ही होता है।

आवले का सेवन आप अचार, मुरब्बा, लड्डू अथवा जूस के रुप में कर सकते है। इसके अलावा आफ इसे  कच्चा या  चटनी,कर सकते है सभी रुप में यह आपको फायदा करेगा।

आवला में वीटामिन सी की भरपूर होता है  इसलिए  आयुर्वेद में इसे अमृतफल या धात्रीफल भी कहा जाता है।

आवले के प्रयोग से खून साफ होता है, मधुमेह, दस्त और जलन की परेशानी में लाभ मिलता है।

झड़ते बालो को रोकने के लिए, चेहरे पर चमक लाने के लिए और ऑखों की रोशनी को बढ़ाने के लिए आंवले का प्रयोग किया जाता है।

आंवले में फाइबर भरपूर मात्रा मे होने के कारण पाचन सही रहता है और कब्ज की समस्या नही होती है।

खाली पेट आंवले के सेवन से शरीर अच्छे ढंक से डीटाक्स हो जाता है जिससे मेटाबॉलिज्म और इम्यून  बूस्ट हो जाता है।

आंवले में क्रीमियम होता है जो डायबिटीज के इलाज में मुख्य भूमिका निभाता है।

यदि आप वजन घटाना चाहते है तो इसके पाउडर को शहद और गुनगुने पानी के साथ पिये।