हाइब्रिड आतंक Hybrid terrorists
आतंकवाद किसी भी देश के लिए एक अभिशाप है जिससे किसी भी देश का विकास नही होता है और न ही लोगो को शुख और चैन से जीने का अधिकार देता है। देश के कुछ राज्य आतंकवाद से बूरी तरह से प्रभावित है देश के अधिक्तर राज्य जम्मू काश्मीर, नागालैंण्ड,पंजाब,राजस्थान,असम, बिहार,छत्तीसगढ झारखंड गुजरात,महाराष्ट्र आदि बहुत सारे राज्यो में हर साल कहीं न कही आतंकवाद की घटनाए होती रहती है जिससे पूरा देश प्रभावित होता रहता है। देश में लगभग 35 से अधिक आंतकवादी संगठन है जो देश को समय समय पर देश की अर्धव्यवस्था को हानी पहुंचाते रहते है। उनमे से कुछ निम्न प्रकार है।
जैस-ए-मौहम्मद, हरकत-उल-मुजाहिद्दिन, बब्बर खालसा इंटरनेशनल, खालिस्तान कंमाडो फोर्स, लश्कक-ए-तैयबा,तमिलनाडु लिबरेशन आर्मी,मणिपुर पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट, भारतीय कम्यूनिस्ट पार्टी , जम्मू एंड काश्मीर इंस्लामिक फ्रंट और भी बहुत सारे लोग हो जो आंतकवादी गतिविधियों को भारत में अंजाम देते है। यें आतंकवादि संगठन हमेशा अपनी रणनीति में बदलाव करते रहते है। इससे पहले ये सरकार या सेना के लोग इनके निशाने पर रहते थे लेकिन अब ये अपने रणनीति में बदलाव करके हाइब्रिड तकनीकि का प्रयोग कर रहे है। इस भाग में हम जानेगें की हाइब्रिड तकनीकि या हाइब्रिड आतंक क्या होता है
हाइब्रिड आतंक क्या होता है What is the Hybrid terrorists –
ऐसा आंतकी जो अपने आकाओं के आदेश मिलने पर कुछ समय के लिए एक्टिव होता है और फिर अपने फिर अपने रोज मर्रा के जीवन शैली में शामिल हो जाता है।
हाइब्रिड आतंकी का काम Work of Hybrid terrorists –
इनका काम होता है जो व्यक्ति दूसरे राज्य से जम्मू काश्मीर में आकर सड़क के किनारे चाय नाश्ते की दुकार लगाकर रोजी रोटी कमा रहे है उनको निशाना बनाना।
हाइब्रिड आंतकी काम कैसे करते है How Hybrid terrorists work –
इनका आकाओ द्वारा इनको 10,000 रुपये दिये जाते है और इनको एक पिस्तौल दिया जाता है।
काम समाप्त होने के बाद हथियार वापस लौटा देना और फिर अपने पूरानी जीवन शैली में वापस लौट जाना।
सड़क के किनारे जो लोग काम कर रहे है उनको मारने के लिए इन आंतकीयो को छोटा मोटा प्रसिक्षण दिया जाता है
हाइब्रिड आंतकी नाम कैसे पड़ा How did the hybrid Terrorist get its name-
सुरक्षा बलो द्वारा इनका नाम हाइब्रिंड आंतकी दिया गया है क्योकि ये आतंकी किसी संगठन के साथ जुड़े नही होते है जिससे इन आंतकीयो का नाम अपराध से सम्बन्धि चीजो में कही भी नही होता है और यह जनता के साथ सामान्य जीवन यापन करते है जिससे इन आतंकी को खोज पाना मुश्किल होता है।